कंगना रनोट की फिल्म इमरजेंसी को रिलीज होने की मंजूरी मिल सकती है अगर मेकर्स सेंसर बोर्ड द्वारा सुझाए गए कट्स फिल्म में लगा दें। सेंट्रल बोर्ड ऑफ फिल्म सर्टिफिकेशन (CBFC) ने गुरुवार 25 सितंबर को ये बात बॉम्बे हाईकोर्ट में सुनवाई के दौरान कही है। फिल्म की रिलीज को लेकर याचिका कंगना और जी स्टूडियो ने दायर की थी। उन्होंने आपत्ति जताई थी कि CBFC (सेंट्रल बोर्ड ऑफ फिल्म सर्टिफिकेशन) ने फिल्म को पहले सर्टिफिकेट दे दिया था, लेकिन 6 सितंबर को होने वाली रिलीज से 4 दिन पहले इस पर रोक लगा दी। इसके बाद कंगना ने आरोप लगाया था कि सेंसर बोर्ड फिल्म को सर्टिफिकेट जारी नहीं कर रहा है और फिल्म की रिलीज में देरी कर रहा है। क्या है पूरा मामला? कंगना रनोट और फिल्ममेकर्स ने याचिका में CBFC पर आरोप लगाया है कि उसने मनमाने ढंग से फिल्म का सर्टिफिकेट रोक रखा है। CBFC ने ई-मेल के जरिए सर्टिफिकेट दे दिया था, हालांकि, रिलीज से महज 4 दिन पहले सर्टिफिकेट की कॉपी देने से मना कर दिया। इस पर CBFC के वकील अभिनव चंद्रचूड़ ने बताया है कि इमरजेंसी के मेकर्स को सिस्टम जनरेटेड मेल मिला था, लेकिन बाद में आपत्ति होने पर इसे रोक दिया गया था। कोर्ट ने लगाई थी CBFC को फटकार 4 सितंबर को हुई सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट जज ने CBFC से जुड़े अधिकारियों को फटकार लगाई थी। उनसे सवाल किया कि आप सिस्टम जनरेटेड ई-मेल कैसे भेज सकते हैं। क्या मेल भेजने से पहले अधिकारियों ने फिल्म नहीं देखी? क्या सर्टिफिकेट देते हुए अधिकारियों ने अपने दिमाग का इस्तेमाल नहीं किया? याचिका में कंगना के प्रोडक्शन हाउस की तरफ से वकील ने कहा- हम फिल्म में कोई बदलाव नहीं करेंगे और फिल्म को उसी तरह रिलीज करेंगे, जिस तरह CBFC ने इसे पहले सील किया है।बॉलीवुड | दैनिक भास्कर
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