Rule Change From 1 October 2024: इन बदलावों में आधार कार्ड, STT, TDS रेट और डायरेक्ट टैक्स विवाद से विश्वास स्कीम 2024 शामिल है. यहां उन बदलाव किए गए नियमों के बारे में बताया जा रहा हैं जो 1 अक्टूबर से लागू होने वाले है.
Rule Change From 1st October : नया महीना, नए नियम! अक्टूबर का महीना आपके लिए कई जरूरी बदलाव लेकर आने वाला है. इस महीने में कई नए नियम लागू होने जा रहे हैं जो आपके दैनिक जीवन को सीधे तौर पर प्रभावित कर सकते हैं. इनमें एलपीजी, बैंकों की छुट्टियां और मोबाईल यूजर्स के लिए नियमों में होने वाले बदलाव शामिल हैं. इसके अलावा केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) ने यूनियन बजट 2024 (Union Budget 2024)में इनकम टैक्स से जुड़े कई नियमों में बदलाव की घोषणा की थी. इनमें से कुछ बदलाव पहले से ही लागू हो चुके हैं, जबकि कुछ 1 अक्टूबर 2024 से लागू होने जा रहे हैं.
इन बदलावों में आधार कार्ड, STT, TDS रेट और डायरेक्ट टैक्स विवाद से विश्वास स्कीम 2024 शामिल है.यहां हम आपको उन सभी नए नियमों के बारे में बताने जा रहा हैं जो 1 अक्टूबर से लागू होने वाले हैं.
1. एलपीजी सिलेंडर की नई कीमतें होंगी जारी (LPG Prices)
सरकारी तेल कंपनियां हर महीने की पहली तारीख को एलपीजी सिलेंडर की कीमतें बदलती हैं.इसलिए, आप 1 अक्टूबर, 2024 की सुबह सिलेंडर की कीमतों में बदलाव देख सकते हैं. नई कीमतें आमतौर पर सुबह 6 बजे जारी की जाती हैं. हाल ही में 19 किलो कमर्शियल गैस सिलेंडर की कीमतें उतार-चढ़ाव वाली रही हैं, लेकिन 14 किलो घरेलू सिलेंडर की कीमतें कुछ समय से स्थिर हैं.
2. TRAI मोबाइल यूजर्स के लिए लागू करेगी नए नियम
TRAI (Telecom Regulatory Authority of India) 1 अक्टूबर से नए नियम लागू करने जा रही है जिससे मोबाइल यूजर्स को कई फायदे होंगे. अब यूजर्स अपने क्षेत्र में उपलब्ध नेटवर्क की जानकारी पा सकेंगे और स्पैम कॉल्स कम आएंगे. TRAI ने टेलीकॉम कंपनियों जियो, एयरटेल, वोडाफोन और बीएसएनएल को स्पैम कॉल्स की लिस्ट बनाने और सुरक्षित यूआरएल या ओटीपी लिंक ही मैसेज में भेजने के निर्देश दिए हैं. ये कदम ऑनलाइन फ्रॉड और स्कैम को रोकने में मदद करेंगे. पहले ये नियम 1 सितंबर से लागू किए जाने थे लेकिन, TRAI की तरफ से इसे एक महीने के लिए बढ़ा दिया गया था.
3. अक्टूबर में 15 दिन बैंकों की छुट्टियां (October Bank Holiday)
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की ऑफिशियल बेवसाइट पर दी गई जानकारी के मुताबिक, अक्टूबर में कुल 15 दिन बैंकों की छुट्टियां (Bank Holidays in October 2024) रहने वाली हैं. इसमें गांधी जयंती और दुर्गा पूजा से लेकर बैंकों में होने वाली साप्ताहिक छुट्टियां भी शामिल हैं. बता दें कि इस महीने में दो शनिवार और चार रविवार के दिन बैंक में छुट्टियां हैं.
4. सुकन्या समृद्धि योजना से जुड़े ये खाते होंगे बंद!
सुकन्या समृद्धि योजना (Sukanya Samriddhi Yojana) में निवेश को लेकर नए नियम 1 अक्टूबर से लागू होने जा रहे हैं. नए नियमों के मुताबिक, ऐसे खाते जो लड़की के माता-पिता या कानूनी अभिभावक ने नहीं खोले हैं, उन्हें अब नई गाइडलाइन के हिसाब से अनिवार्य रूप से माता-पिता या उनके कानूनी अभिभावक के नाम पर ट्रांसफर करना होगा. नए नियमों के मुताबिक. केवल कानूनी अभिभावक या प्राकृतिक माता-पिता ही सुकन्या समृद्धि योजना (Sukanya Samriddhi scheme) के तहत खाते खोल और बंद कर सकते हैं. इसके तहत यदि दो से अधिक खाते खोले जाते हैं, तो अन्य अतिरिक्त खाते (Sukanya Samriddhi account) बंद कर दिए जाएंगे.
5. सिक्योरिटीज ट्रांजैक्शन टैक्स(Securities transaction tax)
फ्यूचर एंड ऑप्शन (F&O) ट्रेडिंग पर सिक्योरिटीज ट्रांजैक्शन टैक्स को क्रमशः 0.02 फीसदी और 0.1 फीसदी तक बढ़ा दिया है. इसके अलावा शेयर बायबैक से हुई कमाई पर बेनिफिशियरी की टैक्सेबल इनकम के मुताबिक टैक्स लगाया जाएगा. यह बदलाव 1 अक्टूबर 2024 से लागू किया जाएगा. इस बात पर खास ध्यान दें कि STT इक्विटी शेयर, फ्यूचर एंड ऑप्शन सहित विभिन्न सिक्योरिटीज की खरीद और बिक्री दोनों पर लगाया जाता है. इस बदलाव के पीछे सरकार का मकसद तेजी से बढ़ते डेरिवेटिव मार्केट में स्पेकुलेटिव एक्टिविटी को कम करना है.
6. पैन-आधार से जुडे नियमें में होगा बदलाव (Aadhaar and PAN Card)
केंद्रीय बजट 2024 में उस प्रावधान को रद्द करने का प्रस्ताव रखा गया है जो आधार नंबर के बजाय आधार (Aadhaar Card rule)एनरोलमेंट आईडी का उल्लेख करने की इजाजत देता है. इस नियम का मकसद पैन के मिसयूज और डुप्लिकेशन को रोकना है. 1 अक्टूबर, 2024 से, अब कोई भी पैन अलॉटमेंट (PAN allotment)के लिए एप्लिकेशन फॉर्म और अपने इनकम टैक्स रिटर्न में अपने आधार एनरोलमेंट आईडी का उल्लेख नहीं कर पाएगा.
7. शेयरों के बाय बैक पर टैक्स (Buy-back of shares)
1 अक्टूबर से शेयरों के बाय बैक (buyback) पर भी डिविडेंड की तरह ही शेयर होल्डर लेवल के टैक्स लागू होंगे. इसके अलावा किसी भी कैपिटल गेन या लॉस को कैलकुलेट करते समय इन शेयरों की अधिग्रहण लागत (acquisition costs) को ध्यान में रखा जाएगा. इस बदलाव से बायबैक का ऑप्शन चुनने वाले शेयरहोल्डर्स पर टैक्स का बोझ बढ़ जाएगा, क्योंकि अब कैपिटल गेन (Capital Gains) पर डायरेक्ट टैक्स लगाया जाएगा.
8. फ्लोटिंग रेट बॉन्ड पर लगेगा टैक्स(Floating rate bonds TDS)
बजट 2024 में यह घोषणा की गई थी कि 1 अक्टूबर 2024 से फ्लोटिंग रेट बॉन्ड सहित केंद्र और राज्य सरकार के कुछ स्पेसिफिक बॉन्ड से 10% की दर से TDS काटा जाएगा. हालांकि, अगर साल भर में कमाई 10 हजार रुपये से कम है तो कोई TDS नहीं काटा जाएगा.
9. टीडीएस रेट में बदलाव (TDS rate changes)
सेक्शन 19DA, 194H, 194-IB और 194M के तहत भुगतान के लिए TDS दरें कम कर दी गई हैं. अब इन सेक्शन के लिए TDS दर 5% से घटाकर 2% कर दी गई. वहीं, ई-कॉमर्स ऑपरेटरों के लिए TDS रेट 1% से घटाकर 0.1% कर दिया गया है.
Section 194DA – लाइफ इंश्योरेंस पॉलिसी के लिए पेमेंटSection 194G – लॉटरी टिकटों की बिक्री पर कमीशनSection 194H – कमीशन या ब्रोकरेजSection 194-IB – कुछ व्यक्तियों या HUF द्वारा किराए का भुगतानSection 194M- कुछ व्यक्तियों या HUF द्वारा कुछ रकम का भुगतानSection 194F – म्यूचुअल फंड यूनिट की रीपरचेज या UTI से संबंधित भुगतानों पर फोकस करने वाले सेक्शन 194F को 1 अक्टूबर 2024 से हटाने का प्रस्ताव है.
10. डायरेक्ट टैक्स विवाद से विश्वास योजना (Direct Tax Vivad Se Vishwas Scheme 2024)
केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (Central Board of Direct Taxes – CBDT) ने इनकम टैक्स डिस्प्यूट के मामलों में पेंडिंग अपीलों के सेटलमेंट के लिए डायरेक्ट टैक्स विवाद से विश्वास योजना, 2024 (जिसे DTVSV, 2024 भी कहा जाता है) की घोषणा की है. 1 अक्टूबर, 2024 से यह स्कीम लागू की जाएगी.
इस योजना के तहत दिया जाने वाला सेटलमेंट अमाउंट भुगतान के समय पर निर्भर करता है. जो टैक्सपेयर्स 1 अक्टूबर, 2024 और 31 दिसंबर, 2024 के बीच निपटान का विकल्प चुनते हैं, उन्हें या तो विवादित टैक्स राशि (disputed tax amount) का पूरा भुगतान करना होगा या विवादित ब्याज, जुर्माना या शुल्क का 25% भुगतान करना होगा.
वहीं, जो टैक्सपेयर 31 दिसंबर, 2024 के बाद निपटान करने का विकल्प चुनते हैं, उन्हें विवादित टैक्स राशि का 110% या ब्याज, जुर्माना या शुल्क का 30% भुगतान करना होगा. जिन मामलों में विभाग ने अपील दायर की है, उनमें निपटान राशि (settlement amount) आधी कर दी जाएगी.
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