सुनीता विलियम्स अंतरिक्ष उड़ानों की अनुभवी हैं, और यह वर्तमान मिशन अंतरिक्ष में उनकी तीसरी उड़ान है. कुल मिलाकर, वह अपने मिशनों के दौरान अंतरिक्ष में 517 दिन से अधिक समय बिता चुकी हैं. एक समय पर, उन्होंने अंतरिक्ष में सबसे अधिक समय बिताने का रिकॉर्ड बनाया था.
भारतीय मूल की अंतरिक्ष यात्री सुनीता विलियम्स की अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (ISS) से वापसी एक बार फिर टल गई है. 59 वर्षीय विलियम्स अब अगले साल मार्च के बाद पृथ्वी पर उतरेंगी. नासा का कहना है कि ISS पर चालक दल स्वस्थ और सुरक्षित है.
अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी ने घोषणा की है कि स्पेसएक्स क्रू ड्रैगन अंतरिक्ष यान, जिसे उसे वापस लाने का काम सौंपा गया है, मार्च के अंत से पहले लॉन्च नहीं होगा. विलियम्स जून में आईएसएस पहुंची थीं. हालांकि, अंतरिक्ष में उनके द्वारा संचालित बोइंग स्टारलाइनर अंतरिक्ष यान में सुरक्षा मुद्दों के कारण उनकी वापसी अगले साल फरवरी तक के लिए टाल दी गई थी.
लगभग शून्य गुरुत्वाकर्षण वाले वातावरण में लंबे समय तक रहने से मानव शरीर पर कई परिणाम होते हैं, जिसे पृथ्वी के गुरुत्वाकर्षण के तहत काम करने के लिए डिज़ाइन किया गया है.
मानव शरीर में हड्डियों का घनत्व कम हो जाता है, जिससे अंतरिक्ष में हड्डियां भंगुर हो जाती हैं. चूंकि मांसपेशियाँ किसी भी भार वहन करने के लिए उपयोग नहीं की जाती हैं.
सुनीता विलियम्स अंतरिक्ष उड़ानों की अनुभवी हैं, और यह वर्तमान मिशन अंतरिक्ष में उनकी तीसरी उड़ान है. कुल मिलाकर, वह अपने मिशनों के दौरान अंतरिक्ष में 517 दिन से अधिक समय बिता चुकी हैं. एक समय पर, उन्होंने अंतरिक्ष में सबसे अधिक समय बिताने का रिकॉर्ड बनाया था, जिसमें 51 घंटे से अधिक समय तक अतिरिक्त-वाहन गतिविधि (ईवीए) में बिताया गया था.
सुनीता विलियम्स जून में बोइंग स्टारलाइनर पर सवार होकर आईएसएस के लिए रवाना हुईं, जिसे शुरू में 7 से 10 दिन के मिशन के रूप में योजनाबद्ध किया गया था. हालांकि, बोइंग स्टारलाइनर में सुरक्षा संबंधी गड़बड़ियों के कारण, उनका प्रवास फरवरी 2025 तक बढ़ा दिया गया. अब, नासा ने घोषणा की है कि वह चालक दल की तारीखों को समायोजित कर रहा है, जिसका अर्थ है कि वह अगले साल मार्च के अंत या अप्रैल में वापस आएंगी.
अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी ने कहा, “नासा का स्पेसएक्स क्रू-10 अब मार्च 2025 के अंत से पहले चार चालक दल के सदस्यों को अंतर्राष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन पर भेजने का लक्ष्य बना रहा है.”
इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन (ISS) को लेकर अब नासा भी टेंशन में आ गया है. ऐसा इसलिए क्योंकि आईएसएस में पिछले पांच सालों से लीकेज हो रहा था लेकिन हाल ही में सामने आया है कि कम से कम 50 जगहों पर लीकेज की समस्या हो गई है. इतना ही नहीं आईएसएस में दरारे भी आ रही हैं. नासा की एक जांच रिपोर्ट सामने आई है, जिसमें पता चला है कि आईएसएस पर खतरा मंडरा रहा है. इस वजह से सुनीता विलियम्स समेत यहां के अंतरिक्षयात्रियों की जान पर खतरा मंडरा रहा है.
आईएसएश में तेजी से कम हो रहा हवा का प्रेशर
जानकारी के मुताबिक, आईएसएस में हवा और प्रेशर अब तेजी से लीक हो रहा है. यह वही हवा और प्रेशर है जो अंतरिक्ष यात्रियों के जिंदा रहने के लिए जरूरी है. इतना ही नहीं आमतौर पर यहां पर 7 से 10 अंतरिक्षयात्री किसी भी वक्त मौजूद रहते हैं. इस समय बाकी अंतरिक्ष यात्रियों के साथ यहां पर भारतीय मूल की सुनीता विलियम्स भी मौजूद हैं. हालांकि, एक फुटबॉल के मैदान जितने बड़े इस स्पेश स्टेशन में लीक की जानकारी 2019 में ही मिल गई थी लेकिन अभी ये बेहद ज्यादा हो गई है और हालात खतरनाक हो सकते हैं.
रूसी सेक्शन में हो रहा है लीकेज
स्पेश स्टेशन में अमेरिकी और रूसी सेक्शन हैं. ये दोनों सेक्शन अलग हैं पर एक दूसरे से कनेक्टेड भी हैं. लीक रूसी सेक्शन में हुआ है लेकिन इसे लेकर नासा और रॉसकॉसमॉस सहमत नहीं हैं. 2019 में रूसी मोड्यूल Zvezda को उस docking port जहां कार्गो और सप्लाय आता है से जोड़ने वाले डनल में लीक दिखा था. लेकिन अब ये बेहद ज्यादा बढ़ गया है. अब वहां पर मौजूद अंतरिक्षयात्री उसे ठीक करने की कोशिश कर रहे हैं.
इन दरारों को सील करने के लिए कहा गया
नासा का मानना है कि इस लीक के कारण Zvezda पूरी तरह फेल हो सकता है लेकिन रूस रॉसकॉसमॉस ऐसा नहीं मानता. फिलहाल, इन दरारों को सील कर रखने के लिए कहा गया है और बहुत ज़रूरत हो तभी खोलने की सलाह दी गई है.
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