दुनियाभर की अंतरिक्ष एजेंसियों को लगता है कि पृथ्वी से बाहर जीवन की तलाश एक एक्सोप्लैनेट पर पूरी हो सकती है। एक्सोप्लैनेट उन ग्रहों को कहते हैं, जो हमारे सूर्य की नहीं बल्कि किसी और तारे की परिक्रमा करते हैं। अब भारत की फिजिकल रिसर्च लेबोरेटरी (PRL) के रिसर्चर्स ने एडवांस्ड PARAS-2 स्पेक्ट्रोग्राफ का इस्तेमाल करते हुए TOI-6651b नाम के एक्सोप्लैनेट की पहचान की है। यह एक घना और शनि ग्रह के आकार का एक्सोप्लैनेट है।
दुनियाभर की अंतरिक्ष एजेंसियों को लगता है कि पृथ्वी से बाहर जीवन की तलाश एक एक्सोप्लैनेट पर पूरी हो सकती है। एक्सोप्लैनेट उन ग्रहों को कहते हैं, जो हमारे सूर्य की नहीं बल्कि किसी और तारे की परिक्रमा करते हैं। अब भारत की फिजिकल रिसर्च लेबोरेटरी (PRL) के रिसर्चर्स ने एडवांस्ड PARAS-2 स्पेक्ट्रोग्राफ का इस्तेमाल करते हुए TOI-6651b नाम के एक्सोप्लैनेट की पहचान की है। यह एक घना और शनि ग्रह के आकार का एक्सोप्लैनेट है।
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