करीना कपूर से एनडीटीवी वर्ल्ड समिट में सवाल हुआ कि वो किस तरह के सामाजिक बदलावों की बात करती हैं जब महिलाओं से जुड़े किसी भी क्राइम के बारे में सुनती हैं.
देश में बीते दिनों बहुत सी ऐसी घटनाएं सामने आईं हैं जो महिलाओं के खिलाफ अपराध से जुड़ी हुई हैं. ऐसी घटनाओं पर बॉलीवुड के स्टार्स का अपना नजरिया है. करीना कपूर ने ऐसे मामलों के खिलाफ खुलकर बात की है. उन्होंने एनडीटीवी के वर्ल्ड समिट में इस मुद्दे पर अपनी राय रखी. और, नए जमाने की मम्मियों को भी खास मैसेज दिया. उन्होंने बताया कि सोच बदलने की शुरुआत किस तरह से उन्होंने अपने घर से ही की है. और, हर मां को उसी तरह घर से बदलाव लाने की शुरुआत कर देनी चाहिए. आप भी जानिए किस तरह के बदलाव की करीना कपूर ने हिमायत की है.
बेटों से करें बात
करीना कपूर से एनडीटीवी वर्ल्ड समिट में सवाल हुआ कि वो किस तरह के सामाजिक बदलावों की बात करती हैं जब महिलाओं से जुड़े किसी भी क्राइम के बारे में सुनती हैं. इस सवाल पर करीना कपूर ने कहा कि किसी भी बदलाव की शुरुआत घर से ही होती है. उन्होंने कहा कि ये वो समय है जब माओं को सिर्फ बेटियों को ही सिखाते रहना काफी नहीं है. बल्कि हर मां को बेटों को भी समझाइश देनी होगी. हो सकता है ये मां और बेटों के बीच का कंफर्टेबल जोन न हो. लेकिन जरूरी है कि सभी मम्मियां अपने बेटों से बात करें और उन्हें बताएं कि जमाना कितना बदला है. और, उसी के अनुसार अब लड़कियों को देखने और समझने का नजरिया भी बदलना होगा.
एक्शन स्पीक्स लाउडर देन वर्ड
करीना कपूर ने आगे कहा कि बच्चे किसी भी बात को सुनने से ज्यादा उसे देखकर समझते हैं. यानी, कि घर वालों के एक्शन से वो ज्यादा बातें समझते हैं. करीना कपूर ने अपने बेटे तैमूर के हवाले से इसका एग्जांपल दिया. करीना कपूर ने कहा कि वो तैमूर से हमेशा डिसकस करती हैं कि वो किस काम से जा रही हैं. वो आगे क्या करने वाली हैं. और, तैमूर उस से जुड़े सवाल करते हैं तो उन्हें प्रॉपर तरीके से जवाब भी देती हैं. करीना कपूर ने कहा कि इसी तरह मम्मियों को बेटों को ये समझाना पड़ेगा कि महिलाएं भी काम पर बाहर निकलती हैं और उन्हें किस तरह का माहौल मिलना चाहिए.
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