Jitan Ram Manjhi : मुंगेर में जीतन राम मांझी ने कहा था कि हमें एनडीए में तवज्जो नहीं दी जा रही है. पहले झारखंड में अब दिल्ली विधानसभा चुनाव में भी हमारी पार्टी को एक भी सीट नहीं दी गई है. ऐसा लगता है कि अब हमें अपना वजूद दिखाना पड़ेगा.
एनडीए के सहयोगी और हम पार्टी के प्रमुख जीतन राम मांझी इस समय काफी नाराज चल रहे हैं. उनकी नाराजगी इस हद तक बढ़ गई है कि उन्होंने मंत्री पद छोड़ने की बात तक कह डाली है. दरअसल, उनकी यह नाराजगी दिल्ली और झारखंड विधानसभा चुनावों में पार्टी को सीट नहीं मिलने के बाद बढ़ी है.
हालांकि, इसके बाद पटना एयरपोर्ट पर मीडिया से बातचीत करते हुए मांझी ने अपनी बात को स्पष्ट किया और कहा कि उनकी एनडीए से कोई नाराजगी नहीं है. जीतन राम मांझी ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि मुझे जो इतना बड़ा पद पीएम नरेंद्र मोदी ने दिया है, वह कोई मामूली बात नहीं है. दिल्ली चुनाव में मैं पूरी तरह से एनडीए के पक्ष में हूं.
जीतन राम मांझी के बगावती तेवर!
पटना एयरपोर्ट पर मीडिया से बातचीत करते हुए जीतन राम मांझी ने कहा अभी झारखंड में हमें सीट नहीं मिली, दिल्ली में भी सीट नहीं मिली. क्या यह न्याय है? क्या मेरा कोई अस्तित्व नहीं है? जब भीड़ हमारे साथ है, जनता हमारे साथ है, तो फिर मुझे सीट क्यों नहीं… pic.twitter.com/uy0DK6l5jO
— NDTV India (@ndtvindia) January 21, 2025
जीतन राम मांझी का कहना है कि जब पार्टी का जनता के बीच इतना प्रभाव है और उनकी आवाज सुनने वालों की संख्या बहुत है, तो उन्हें चुनावों में प्रतिनिधित्व क्यों नहीं मिला? वे यह भी महसूस कर रहे हैं कि उनके योगदान और पार्टी के वजूद को उचित मान्यता नहीं दी गई है, जो उनकी नाराजगी का मुख्य कारण बन गया है.
‘मुझे केंद्रीय मंत्रीमंडल से इस्तीफा देना पड़ेगा’
हम पार्टी के प्रमुख जीतन राम मांझी ने कहा कि अभी झारखंड में हमें सीट नहीं मिली, दिल्ली में भी सीट नहीं मिली. क्या यह न्याय है? क्या मेरा कोई अस्तित्व नहीं है? जब भीड़ हमारे साथ है, जनता हमारे साथ है, तो फिर मुझे सीट क्यों नहीं मिली? जो मेरा वजूद है, उसी के आधार पर मुझे सीट मिलनी चाहिए. यह सीट हम आपके फायदे के लिए नहीं, बल्कि अपने हक के लिए मांग रहे हैं. लगता है मुझे केंद्रीय मंत्रीमंडल से इस्तीफा देना पड़ेगा.”
उन्होंने मंच से कहा कि जब लोग हमारे साथ हैं, मेरे पास वोट है तो हमें सीट क्यों नहीं मिली. ये प्रश्न करना है मुझे. हमारा स्टैंड साफ है, जो हमारा अस्तित्व है, उसके मुताबिक हमें सीट दो. हम अपने नहीं, दलितों के फायदे के लिए सीट मांग रहे हैं. मेरी बात आगे नहीं बढ़ती है तो लग रहा है कि मुझे मोदी कैबिनेट छोड़ना पड़ेगा.
हमें एनडीए में तवज्जो नहीं दी जा रही : मांझी
दरअसल, मुंगेर में जीतन राम मांझी ने कहा था कि हमें एनडीए में तवज्जो नहीं दी जा रही है. पहले झारखंड में अब दिल्ली विधानसभा चुनाव में भी हमारी पार्टी को एक भी सीट नहीं दी गई है. ऐसा लगता है कि अब हमें अपना वजूद दिखाना पड़ेगा.
इसके साथ ही, मांझी ने बीपीएससी परीक्षा को लेकर चिराग पासवान और प्रशांत किशोर के बयान पर भी प्रतिक्रिया दी. उन्होंने कहा कि चिराग पासवान का राजनीतिक दृष्टिकोण मैं नहीं जानता, लेकिन बीपीएससी अभ्यर्थियों के मामले में बिहार सरकार ने बहुत उदार तरीके से छात्रों के साथ व्यवहार किया है. 912 केंद्रों में से 911 पर परीक्षा सही तरीके से हुई. एक केंद्र पर गड़बड़ी होने पर दोबारा परीक्षा का आयोजन किया गया. अगर कुछ छात्र अनशन कर रहे हैं तो वह राजनीति कर रहे हैं. बिहार सरकार और आयोग का निर्णय बिल्कुल सही है.
NDA के सहयोगी के तौर पर जीतन राम मांझी गया लोकसभा सीट से चुनाव जीत संसद पहुंचे हैं. मांझी 20 मई 2014 से 20 फरवरी 2015 तक बिहार के मुख्यमंत्री भी रहे हैं. मांझी दलित समुदाय से आते हैं. वे पहली बार वर्ष 1980 में विधायक चुने गए थे. मांझी बिहार के अलग अलग सरकारों में मंत्री भी रहे हैं.
NDTV India – Latest
More Stories
कमाल की हैं ये महिला, इशारे पर चलते हैं जंगली जानवर, करती हैं उनसे बातें
दिल्ली की मटिया महल सीट : न सूरज की रोशनी; न साफ हवा, रोज लगने वाले जाम से क्षेत्र के वाशिंदे खफा
मोबाइल फोन पर बाबू-सोना से बात कर रहा था लड़का, तभी पीछे से फन फैलाए सांप ने कर दिया हमला, वीडियो देख छूटे लोगों के पसीने