शिमला मस्जिद विवाद में नया मोड़, संजोली मस्जिद कमेटी की जानें क्या मांग​

 Shima Sanjauli Mosque: बुधवार को हुआ विरोध मार्च शिमला के संजौली क्षेत्र में एक मस्जिद के अवैध हिस्से को ध्वस्त करने की मांग को लेकर बुलाया गया था.जिस पर सीएम सुक्खू ने कहा कि सभी को विरोध जताने का अधिकार है, लेकिन यह विरोध सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाए बिना शांतिपूर्ण तरीके से होना चाहिए. देखें वीडी शर्मा की रिपोर्ट.

शिमला के संजौली क्षेत्र में एक मस्जिद (Shimla Mosque) के अवैध हिस्से को ध्वस्त करने की मांग को लेकर बुधवार को विरोध-प्रदर्शन हुआ था. प्रदर्शनकारी मस्जिद के अवैध निर्माण को लेकर विरोध जता रहे थे. 5 घंटे से ज्यादा स्थानीय लोग सड़कों पर मौजूद रहे. इस दौरान सुरक्षाकर्मियों के साथ उनकी झड़प भी हो गई.पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को रोकने के लिए बैरिकेडिंग तक कर दी, लेकिन गुस्साए लोगों ने उसे भी तोड़ दिया. पुलिस ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए पानी की बौछारें कीं और लाठीचार्ज किया. इस दौरान पुलिस और महिलाएं समेत करीब 10 लोग घायल हो गए.

ये भी पढ़ें-शिमला की मस्जिद में अवैध निर्माण को लेकर क्या है पूरा विवाद, क्यों प्रदर्शन कर रहे हैं स्थानीय लोग, यहां समझें 

एनडीटीवी के रिपोर्टर वीडी शर्मा के मुताबिक मस्जिद कमेटी अवैध निर्माण को सीज करने की मांग को लेकर अब खुद सामने आई है. कमेटी ने नगर निगम में ज्ञापन सौंपकर कहा है कि मस्जिद के अवैध निर्माण को गिरा दिया जाए या फिर उसे सीज कर दिया जाए. कमेटी ने माना कि मस्जिद में अवैध निर्माण हुआ है.कमेटी के मुताबिक हिमाचल प्रदेश में बाहरी लोग आए हैं.उनकी वजह से अवैध निर्माण हुआ है. इससे हिमाचल में भाईचारे का माहौल बदल रहा है.शिमला की मस्जिद कमेटियों और वक्फ बोर्ड ने मिल बैठकर अवैध निर्माण हटाने का फैसला लिया.कमेटी ने माना कि मस्जिद में अवैध निर्माण किया गया है. कमेटी ने कहा कि जब तक कोर्ट का फैसला नहीं आ जाता है, तब तक इस मस्जिद को सीज कर दिया जाए. बुधवार को पूरा संजौली मस्जिद में अवैध निर्माण को लेकर उबल देखा गया था. इसको लेकर भारी प्रदर्शन भी हुआ था.क्या मुस्लिम पक्ष के इस यू-टर्न के बाद यह मामला शांत हो जाएगा, पुलिस अब  इस पर नजर रखे हुए है.हिंदू पक्ष मुस्लिम कमेटी के फैसले को किस तरह से लेता है, यह भी देखा जाएगा.

विरोध करो, लेकिन संपत्ति को नुकसान मत पहुंचाओ

बुधवार को हुआ विरोध मार्च शिमला के संजौली क्षेत्र में एक मस्जिद के अवैध हिस्से को ध्वस्त करने की मांग को लेकर बुलाया गया था.जिस पर सीएम सुक्खू ने कहा कि सभी को विरोध जताने का अधिकार है, लेकिन यह विरोध सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाए बिना शांतिपूर्ण तरीके से होना चाहिए.उन्होंने कहा कि इस मामले की सुनवाई स्थानीय नगरपालिका अदालत में हो रही है. कानून अपना काम कर रहा है.

लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि सरकार स्थिति के बिगड़ने पर गंभीर रूप से चिंतित है और सभी घटनाक्रमों पर कड़ी नजर रख रही है. उन्होंने कहा, “हम केंद्रीय नेतृत्व और मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के संपर्क में हैं औरपार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और पार्टी प्रभारी राजीव शुक्ला से बात की है. वे भी चिंतित हैं कि कानून व्यवस्था की स्थिति में कोई गिरावट नहीं आए.”

“जय श्री राम” और “हिंदू एकता जिंदाबाद” के नारे

“जय श्री राम” और “हिंदू एकता जिंदाबाद” के नारे लगाते हुए सैकड़ों प्रदर्शनकारी सब्जी मंडी ढल्ली में एकट्ठा हुअ और निषेधाज्ञा का उल्लंघन करते हुए उन्होंने प्रशासन की चेतावनी की अनदेखी की और संजौली की ओर मार्च शुरू कर दिया. उन्होंने ढल्ली सुरंग के पास लगाए गए बैरिकेड्स तोड़ दिए.कुछ हिंदू समूहों के आह्वान पर एकत्र प्रदर्शनकारियों ने जब संजौली में प्रवेश किया और मस्जिद के पास लगे दूसरे बैरिकेड्स तोड़े तो पुलिस ने उन्हें तितर-बितर करने के लिए लाठीचार्ज किया और पानी की बौछारें छोड़ीं.

बैरिकेड्स तोड़े, जमकर की नारेबाजी

पुलिस ने इस दौरान हिंदू जागरण मंच के सचिव कमल गौतम समेत कुछ प्रदर्शनकारियों को हिरासत में ले लिया और मस्जिद के पास फिर से बैरिकेड्स लगा दिए. लेकिन प्रदर्शनकारी वहां से हटने के लिए तैयार नहीं थे. वह लगातार प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी कर रहे थे.

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