हिमाचल का भांग खेती बिल क्या है? जिसे जल्द किया जाएगा विधानसभा में पेश… यहां जानिए इसकी पूरी डिटेल​

 भारत में पिछले 40 साल से अधिक समय से भांग की खेती को गैरकानूनी. 1985- भारत में भांग की खेती को अपराध घोषित किया गया था.

हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) की राजनीति गर्म है. राज्य सरकार की तरफ से भांग की खेती को लीगल करने की योजना बनायी जा रही है. राज्य सरकार का दावा है कि औषधीय उपयोग के लिए इसे लीगल किया जा सकता है. इसके लिए सरकार की तरफ से बिल तैयार किया गया है.  राजस्व मंत्री की अध्यक्षता में 26 अप्रैल, 2023 को एक समिति का गठन हुआ था. राज्य सरकार के मंत्री विक्रमादित्य सिंह (Vikramaditya Singh) ने ऐलान किया है कि इसे लेकर जल्द ही एक बिल पेश किया जाएगा. उनका कहना है कि इससे अर्थव्यवस्था को मजबूत करने में मदद मिलेगी. 

समिति के प्रस्तावों के आधार पर लाया जाएगा बिल
हिमाचल सरकार की तरफ से बनाए गए समिति ने कांगड़ा, चंबा, मंडी, कुल्लू, सोलन और सिरमौर जिला का दौरा किया था और साथ कई राज्यों से भी संपर्क किया था.समिति ने पाया है कि इसके खेती से राज्य को राजस्व की प्राप्ति होगी. मंत्री ने भी दावा किया है कि राज्य की आबकारी नीति को फायदा होगा.

हिमाचल के सामने है आर्थिक संकट
हिमाचल प्रदेश हाल के दिनों में आर्थिक संकट से गुजर रहा है. राज्य के मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने दावा किया है कि अगर सरकार कानूनी तौर पर इसकी खेती का आदेश देती है तो यह राज्य की अर्थव्यवस्था के लिए गेम चेंजर साबित हो सकता है. उन्होने कहा कि हमें गंभीरता से सोचना चाहिए. छींटाकशी से बचने की आवश्यकता है. 

भारत में भांग की खेती अब तक है गैरकानूनी
भारत में पिछले 40 साल से अधिक समय से भांग की खेती को गैरकानूनी माना गया है. हालांकि हिमाचल सहित कई राज्यों में लोग गैरकानूनी तरीके से इसकी खेती करते रहे हैं. हिमाचल में जय राम ठाकुर की सरकार ने भी 2018 में इसे कानूनी रूप देने की घोषणा की थी. सरकार का दावा है कि इससे राज्य को लगभग 500 करोड़ रुपये की कमाई है. 1985- भारत में भांग की खेती को अपराध घोषित किया गया. 

भांग की पत्ती कई दवाओं में भी होता रहा है उपयोग
भांग को एक नशे के तौर पर देखा जाता है.भांग आयुर्वेदिक चिकित्सा में अहम भूमिका निभाता है और इसे मतली, उल्टी और शारीरिक दर्द सहित विभिन्न बीमारियों के इलाज में इस्तेमाल लाया जाता है. हालांकि कई जगहों पर इसके औषधीय लाभ होने के भी दावे होते रहे हैं. माना जाता रहा है कि यह इम्यूनिटी बूस्टर  का काम करते हैं. इससे शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत होती है. यही नहीं यह कोलेस्ट्रोल को कम करने में भी मदद करता है. यह हाई ब्लड प्रेशर को कम कंट्रोल करता है. आर्थराइटिस में आराम पहुंचाने और त्वचा संबंधित रोगों में निजात दिलाने में कारगर हो सकता है. 

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