राजस्थान में विधानसभा की सात सीटों पर उपचुनाव के लिए मतदान सुबह सात बजे शुरू हो गया और सुबह 11 बजे तक 24.83 प्रतिशत मतदाताओं ने वोट डाले. राज्य की झुंझुनू, दौसा, देवली-उनियारा, खींवसर, चौरासी, सलूंबर और रामगढ़ विधानसभा सीट पर मतदान बुधवार को सुबह सात बजे शुरू हुआ जो शाम छह बजे तक चलेगा, वोटों की गिनती 23 नवंबर को होगी.
झारखंड में विधानसभा चुनाव के लिए पहले चरण में 15 जिलों की 43 सीटों पर वोटिंग चल रही है. इसके साथ ही बिहार, मध्य प्रदेश, बिहार, कर्नाटक, राजस्थान समेत 10 राज्यों की 31 सीटों पर भी उपचुनाव हो रहा है. झारखंड में बीजेपी और कांग्रेस-जेएमएम गठबंधन में सीधी टक्कर है. ये चुनाव तय करेगा कि झारखंड में हेमंत सोरेन फिर सत्ता में आएंगे या फिर बीजेपी अपना परचम लहराएगी. झारखंड में पहले फेज में आखिर किसका क्रेज है, इसका इशारा वोट प्रतिशत से मिल जाएगा. शाम तीन बजे तक झारखंड में 59.3 पर्सेंट वोटिंग हो चुकी है. अगर हम लोकसभा चुनाव की बात करें तो राज्य में 63.9 पर्सेंट वोटिंग हुई थी. इस लिहाज से देखें तो झारखंड में वोटिंग पर्सेंट लोकसभा चुनाव से ऊपर जा सकता है. आखिर झारखंड में हो रही बंपर वोटिंग किसके लिए गुड न्यूज है? अगर चुनावी विश्लेषकों की बात करें तो ज्यादा वोट प्रतिशत सत्ता पक्ष के खिलाफ लहर के तौर पर देखा जाता है. हालांकि कई मौकों पर ऐसा भी हुआ है कि ज्यादा वोट प्रतिशत के बाद भी सरकारों ने सत्ता में वापसी की है.
किस राज्य में कहां-कहां हो रही वोटिंग
राजस्थान में सात, पश्चिम बंगाल में छह, असम में पांच, बिहार में चार, केरल में तीन, मध्य प्रदेश में दो और मेघालय, गुजरात, छत्तीसगढ़ और कर्नाटक में एक-एक सीट पर वोट डाले जा रहे हैं. वहीं पूर्वोत्तर राज्य सिक्किम की दो सीटों पर सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा के उम्मीदवारों को 30 अक्टूबर को निर्विरोध विजेता घोषित किया गया था. 14 राज्यों की 48 विधानसभा सीटों और महाराष्ट्र एवं केरल की एक-एक लोकसभा सीटों पर उपचुनाव कार्यक्रमों की भी घोषणा की थी. लेकिन बाद में इस चुनाव कार्यक्रम में बदलाव हो गया, जिसके बाद आज 31 सीटों पर वोट डाले जा रहे हैं.
10 राज्यों की 31 सीटों पर कहां कितना मतदान
बिहार उपचुनावः चार सीटों पर एक बजे तक 34.77 पर्सेंट वोटिंग
बिहार में तरारी, इमामगंज, बेलागंज और रामगढ़ विधानसभा सीटों पर हो रहे उपचुनाव में दोपहर एक बजे तक 34.77 प्रतिशत मतदान हुआ. बेलागंज में 35.5 प्रतिशत, इमामगंज में 38.17 प्रतिशत, रामगढ़ में 34.43 प्रतिशत और तरारी में 30.9 प्रतिशत मतदान हुआ. इन विधानसभा क्षेत्रों के तत्कालीन विधायकों के पिछले लोकसभा चुनाव में निर्वाचित होने के बाद ये सभी चार सीटें खाली हो गई थीं. ये सभी सीटें गंगा नदी के दक्षिण क्षेत्र में स्थित हैं जो आमतौर पर विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया’ (इंडियन नैशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस) के राज्य स्तरीय महागठबंधन का गढ़ माना जाता है. इस राज्य स्तरीय महागठबंधन में आरजेडी, वाम और कांग्रेस शामिल हैं.
कर्नाटक: 3 विधानसभा सीट पर डेढ़ बजे तक 45% वोटिंग
कर्नाटक में तीन विधानसभा सीट पर उपचुनाव में दोपहर डेढ़ बजे तक करीब 45.02 प्रतिशत मतदान हुआ. शिग्गांव, सेंडुर और चन्नापटना निर्वाचन क्षेत्रों में करीब 770 मतदान केंद्रों पर सात लाख से अधिक मतदाता अपने मताधिकार का इस्तेमाल करने के लिए पात्र हैं. इन सीट पर कुल 45 उम्मीदवार हैं. चन्नपटण में 48.15 प्रतिशत, शिग्गांव में 43.5 और सेंडुर में 43.46 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया. सेंडुर, शिग्गांव और चन्नपटण निर्वाचन क्षेत्रों का प्रतिनिधित्व करने वाले कांग्रेस के ई. तुकाराम, बीजेपी के पूर्व मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई और केंद्रीय मंत्री एच डी कुमारस्वामी के मई में लोकसभा के लिए निर्वाचित होने के बाद इन सीट पर उपचुनाव कराने की आवश्यकता पड़ी. चन्नपटण से 31 उम्मीदवार, जबकि सेंडुर से छह और शिग्गांव से छह उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं. माना जा रहा है कि उपचुनाव में सेंडुर और शिग्गांव में सत्तारूढ़ कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के बीच सीधा मुकाबला है, जबकि चन्नपटण में जनता दल (सेक्युलर) का कांग्रेस से सीधा मुकाबला है.
बंगाल उपचुनाव: छह विधानसभा सीटों पर एक बजे तक 45% वोट
पश्चिम बंगाल में छह विधानसभा सीट के लिए हो रहे उपचुनाव में बुधवार को दोपहर एक बजे तक 45 प्रतिशत से अधिक मतदान हुआ. सीताई, मदारीहाट, नैहाटी, हरोआ, मेदिनीपुर और तालडांगरा विधानसभा सीट पर कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच सुबह सात बजे वोटिंग शुरू हुआ. चुनाव आयोग के अनुसार छह विधानसभा सीटों पर औसतन 45.59 प्रतिशत मतदान हुआ. तालडांगरा विधानसभा क्षेत्र में 48 प्रतिशत मतदान हुआ, इसके बाद हरोआ में 47.10, मेदिनीपुर में 46.24, मदारीहाट में 46.18, सीताई में 45 और नैहाटी में 39.12 प्रतिशत लोगों ने मताधिकार का प्रयोग किया. आम चुनावों में कुछ विधायकों के लोकसभा के लिए सांसद चुने जाने के बाद उनके इस्तीफे से खाली हुईं सीटों पर उपचुनाव कराए जा रहे हैं. तृणमूल कांग्रेस और विपक्षी भारतीय जनता पार्टी ने सभी छह सीटों पर उम्मीदवार उतारे हैं. बंगाल कांग्रेस के नेतृत्व में हाल ही में बदलाव हुआ है. माकपा के नेतृत्व वाला वाम मोर्चा और कांग्रेस 2021 के बाद पहली बार अलग-अलग उपचुनाव लड़ रहे हैं. वाम मोर्चे ने छह में से पांच सीटों के लिए उम्मीदवारों की घोषणा की है, जिसमें एक भाकपा (माले) का उम्मीदवार भी शामिल है. कांग्रेस ने सभी छह विधानसभा क्षेत्रों में उम्मीदवार उतारे हैं.
मध्य प्रदेश उपचुनाव: 1 बजे तक विजयपुर में 54.86 और बुधनी में 51.16% वोट
मध्य प्रदेश की दो विधानसभा सीट परएक बजे तक विजयपुर में 54.86 प्रतिशत और बुधनी में 51.16 प्रतिशत लोगों ने अपने मताधिकार का इस्तेमाल किया. श्योपुर जिले में विजयपुर सीट पर कांग्रेस विधायक रामनिवास रावत के भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) में शामिल होने के बाद उपचुनाव कराने की आवश्यकता पड़ी है. रावत वर्तमान में मोहन यादव मंत्रिमंडल में मंत्री हैं और उन्होंने अपने पैतृक गांव सुनवाई में अपने मताधिकार का प्रयोग किया. बुधनी में निवर्तमान विधायक एवं पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के लोकसभा के लिए चुने जाने के बाद उपचुनाव कराया जा रहा है. विजयपुर में राज्य के वन मंत्री रामनिवास रावत कांग्रेस के वरिष्ठ आदिवासी नेता मुकेश मल्होत्रा के खिलाफ चुनाव लड़ रहे हैं.
(इनपुट्स भाषा)
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