बसपा के नौ विधायक हुए बागी, मांगी सदन में अलग जगह

लखनऊ। उत्तर प्रदेश में विधानासभा चुनाव से पहले बहुजन समाज पार्टी में विद्रोह हो गया है। विधान सभा का बजट सत्र शुरू होते ही बसपा के कुल 15 विधायकों में से 9 बागी विधायकों ने विधानसभा अध्यक्ष ह्रदयनारायण दीक्षित से मुलाकात कर विधानसभा सदन में अलग से बैठने की मांग की है। बसपा के 9 विधायकों के बागी हो जाने के बाद अब पार्टी के पास मात्र 6 विधायकों की संख्या बची है।

गुरुवार को उत्तर प्रदेश विधानसभा सत्र का पहला दिन था। बसपा विधायकों का कहना है कि हमारी संख्या अब पार्टी के विधायकों की संख्या से अधिक है। इसलिए अलग से विधानसभा सदन में बैठने की जगह मिलनी चाहिए। बसपा विधायक असलम राईनी का कहना है कि बहुत जल्द नई राजनीतिक पारी की शुरुआत नई ऊर्जा के साथ करूंगा।

बसपा अध्यक्ष मायावती ने तीन माह पूर्व बसपा के 7 विधायकों को पार्टी से निष्कासित कर दिया था। दो विधायकों को पहले से ही निष्कासित किया जा चुका है। इस तरह अब बसपा के बागी विधायकों की संख्या 9 हो चुकी है। आने वाले विधानसभा चुनाव में इन 9 बागी विधायकों की भूमिका महत्वपूर्ण मानी जा रही है। हालांकि, विधायकों का कहना है कि वह खुद ही बसपा से अलग हो चुके हैं।

राज्यसभा उम्मीदवार के खिलाफ बगावत का था आरोप

पिछले साल अक्टूबर माह में उस समय जब प्रदेश में राज्यसभा चुनाव हो रहे तब बसपा प्रमुख मायावती ने सात बागी विधायकों को पार्टी से बाहर कर दिया था। इन विधायकों पर पार्टी के राज्य सभा उम्मीदवार के खिलाफ बगावत करने का आरोप लगाया था। विधायक दल के नेता लालजी वर्मा की रिपोर्ट पर मायावती ने यह कार्रवाई की थी। तब मायावती ने बागी विधायकों ने बारे में कहा था कि सभी 7 विधायक निलंबित किए गए हैं। बागी विधायकों की सदस्यता रद्द की जाएगी। हालांकि, अभी तक इन सदस्यों के निष्कासन को लेकर कोई कार्रवाई नहीं हुई थी।

ये हैं बसपा के 9 बागी

  • असलम राइनी (भिनगा-श्रावस्ती)
  • असलम अली (ढोलाना-हापुड़)
  • मुजतबा सिद्दीकी (प्रतापपुर-इलाहाबाद)
  • हाकिम लाल बिंद (हांडिया- प्रयागराज)
  • हरगोविंद भार्गव (सिधौली-सीतापुर)
  • सुषमा पटेल (मुंगरा बादशाहपुर)
  • वंदना सिंह (सगड़ी-आजमगढ़)
  • अनिल सिंह
  • रामवीर उपाध्याय
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